तकिआ
यूँ तो एक शब्द है तकिआ, मगर का कभी सोचा है इसके बारे मे… ?
हर रात सूकून देता है तकिआ,,,,
किसी कि याद आए तो बाहों में भर लो तो उस कि कमी पूरी करता है तकिआ ,,,
प्यार हो या तकरार एक दुसरो के पास लाने का काम करती है तकिआ',,,,
जब कोई ना हो पास तो हर वक़्त हमेसा आप का साथ देती है तकिआ ,,,
आंसू भी पोछती है ये , हर सुख दुःख में साथ देती है ये ,,
चुप चाप सब देखती है है ,,, हर जरुरत में साथ देती है ,,,,
बिना कुछ कहे सब समझ जाती है ये,,,,
इतना ही नहीं जिन्दा है तो साथ तो निभाती ही है
मगर मरने के बाद भी आपने आगोश में सुलाती है ये तकिया… .
यूँ तो एक शब्द है तकिआ, मगर का कभी सोचा है इसके बारे मे… ?
हर रात सूकून देता है तकिआ,,,,
किसी कि याद आए तो बाहों में भर लो तो उस कि कमी पूरी करता है तकिआ ,,,
प्यार हो या तकरार एक दुसरो के पास लाने का काम करती है तकिआ',,,,
जब कोई ना हो पास तो हर वक़्त हमेसा आप का साथ देती है तकिआ ,,,
आंसू भी पोछती है ये , हर सुख दुःख में साथ देती है ये ,,
चुप चाप सब देखती है है ,,, हर जरुरत में साथ देती है ,,,,
बिना कुछ कहे सब समझ जाती है ये,,,,
इतना ही नहीं जिन्दा है तो साथ तो निभाती ही है
मगर मरने के बाद भी आपने आगोश में सुलाती है ये तकिया… .
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